मंगलवार, 29 नवंबर 2011

ब्रह्मसरोवर के तट पर स्थित श्रीजयराम विद्यापीठ परिसर में विधिवत मंत्रोच्चारण के साथ विद्वान ब्राह्मणों द्वारा श्रीजयराम संस्थाओं के संचालक तथा उत्तरांचल संस्कृत विश्वविद्यालय के पूर्व कुलपति ब्रह्मस्वरूप ब्रह्मचारी के सान्निध्य में ध्वजारोहण किया गया।गीता जयंती उत्सव के लिए हुआ ध्वजारोहण गीता जयंती के लिए हुआ रामभक्त हनुमान का आह्वान


अशोक यादव 29 नवम्बर कुरुक्षेत्र






राष्ट्रीय उत्सव गीता जयंती के अवसर पर विश्वविख्यात पावन ब्रह्मसरोवर के तट पर स्थित श्रीजयराम विद्यापीठ परिसर में विधिवत मंत्रोच्चारण के साथ विद्वान ब्राह्मणों द्वारा श्रीजयराम संस्थाओं के संचालक तथा उत्तरांचल संस्कृत विश्वविद्यालय के पूर्व कुलपति ब्रह्मस्वरूप ब्रह्मचारी के सान्निध्य में ध्वजारोहण किया गया। इस अवसर पर विद्वान ब्राह्मणों द्वारा पूजा अर्चना कर जहां राम भक्त हनुमान का आह्वान किया गया वहीं हनुमान चालीसा का उच्चारण करते हुए राष्ट्रीय उत्सव गीता जयंती को निर्विघ्न आयोजित करने के लिए मंगलकामनाएं की गईं। इसके उपरान्त ब्रह्मचारियों द्वारा विद्यापीठ में श्लोकोच्चारण के साथ भगवान श्रीकृष्ण के श्रीमुख से उद्धृत हुई पावन गीता का प्रवाह किया गया।
ब्रह्मस्वरूप ब्रह्मचारी ने इस अवसर पर बताया कि विद्यापीठ द्वारा गीता जयंती को आम जनमानस के बीच आत्मिक भावनाओं को जोडऩे का वर्षों से प्रयास किया जा रहा है और इसी शृंखला में गीता जयंती के पावन अवसर पर आयोजित किए जाने वाले कार्यक्रमों के माध्यम से पूर्ण धर्मनगरी में गीतामय वातावरण बनाने का संकल्प लिया गया। उन्होंने बताया कि 30 नवम्बर को गीता जयंती के कार्यक्रमों की शृंखला में ही प्रात: 11:30 बजे पुरानी सब्जी मंडी हनुमान मंदिर से शोभायात्रा मंत्रोच्चारण के साथ प्रारंभ होगी। इस शोभायात्रा में जहां भारी संख्या में श्रद्धालु शामिल होंगे, वहीं विधिविधान के साथ यजमानों द्वारा सिर पर श्रीमद्भागवत पुराण को विद्यापीठ परिसर में आयोजित होने वाले कथा स्थल पर लाया जाएगा। इस कथा को देश के विख्यात कथावाचक कृष्णचंद शास्त्री ठाकुर ब्यासपीठ से कहेंगे। संगीतमयी श्रीमद्भागवत कथा के लिए निकलने वाली शोभायात्रा में नगर के प्रख्यात बैंडों के अलावा अन्य राज्यों से भी बैंड शामिल होंगे। इस शोभायात्रा का नेतृत्व पवित्र कलश सिर पर धारण किए हुए महिलाएं व कन्याएं करेंगी। इसके उपरांत विद्यापीठ में 6 दिसम्बर तक चलने वाली श्रीमद्भागवत कथा का विधिवत शुभारंभ होगा।
ब्रह्मस्वरूप ब्रह्मचारी ने बताया गीता जयंती के अवसर पर 1 से 3 नवम्बर तक आने वाली पीढ़ी में गीता का वास्तविक ज्ञान देने के लिए 40 स्कूलों के बच्चे विद्यापीठ द्वारा आयोजित की जाने वाली प्रतियोगिताओं में शामिल होंगे। जिनमें श्लोकोच्चारण, गीतापाठन, श्रीगीता व्याख्यान, श्री गीता चित्रकला एवं अन्य विभिन्न प्रतियोगिताएं करवाई जाएंगी। इन प्रतियोगिताओं को लेकर स्कूली बच्चों में भारी उत्साह है। उन्होंने बताया कि इसी शृंखला में 1 नवम्बर को विद्यापीठ परिसर में रात्रि 8 बजे विशाल हास्य कवि सम्मेलन भी करवाया जा रहा है। इस काव्य कवि सम्मेलन में मुख्यातिथि आयुक्त अनिल कुमार होंगे। कवि सम्मेलन में देश के प्रख्यात कवि जहां देश की सामाजिक समस्याओं पर कटाक्ष करेंगे वहीं वे गीता को अपने अंदाज में जनमानस के बीच प्रस्तुत करेंगे। इस हास्य कवि सम्मेलन में प्रख्यात कवि सुरेन्द्र शर्मा, अरुण जैमिनी, सीता सागर, युसुफ भारद्वाज, प्रदीप चौबे व सम्पत्त सरोज के अलावा कई अन्य कवि भी अपनी प्रतिभाओं का जौहर दिखाएंगे।
2 दिसम्बर को विद्यापीठ परिसर में मां वैष्णो देवी की पवित्र गुफा से लाई गई अखण्ड ज्योति को विद्यापीठ परिसर में निॢमत की गई पावन गुफा में तीनों भगवती पिंडियों के साथ स्थापित किया जाएगा। ब्रह्मचारी के अनुसार ज्योति की स्थापना हरियाणा के राज्यपाल जगन्नाथ पहाडिय़ा द्वारा की जाएगी। गीता जयंती के अवसर पर ही हर वर्ष की भांति इस वर्ष भी 4 दिसम्बर को सारादेवी चैरिटेबल ट्रस्ट के सौजन्य से गरीब कन्याओं का सामुहिक विवाह समारोह सम्पन्न करवाया जाएगा। इस सामुहिक विवाह समारोह में हरियाणा के राज्यपाल जगन्नाथ पहाडिय़ा नवदम्पत्तियों को आशीर्वाद देंगे। उल्लेखनीय है कि सारादेवी चैरीटेबल ट्रस्ट के ट्रस्टियों प्रयाग चंद गोयल, रामलाल गोयल व पुरुषोत्तम गोयल द्वारा हर वर्ष यह सामुहिक विवाह समारोह श्रीजयराम संस्थाओं के संचालक ब्रह्मस्वरूप ब्रह्मचारी के सान्निध्य में सम्पन्न करवाया जाता है, जिसमें नवदम्पत्तियों को आशीर्वाद देने के लिए श्रीजयराम संस्थाओं के ट्रस्टियों के अलावा हजारों की संख्या में देश-विदेश से श्रद्धालु भी शामिल होते हैं। हनुमान चालिसा के साथ सम्पन्न हुए ध्वजारोहण में हरियाणा के पूर्व मंत्री देवेन्द्र शर्मा, सुशील कंसल, बीबी जिंदल, दर्शन पाहवा, एसएन गुप्ता, पंडित प्रमोद कौशिक, राजेश सिंगला, श्रवण सिंगला, केके कौशिक, ईश्वर गुप्ता, राजेन्द्र सिंघल, केके गर्ग, खैरातीलाल सिंगला, कैलाश भगत, कुलवंत सैनी, टेकचंद लोहार माजरा, विलायती राम नरूला इत्यादि सहित गीता जयंती आयोजन प्रबंध कमेटी के सदस्य भी मौजूद थे।

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